बुधादित्य योग (राजयोग)
बुधादित्य योग एक शुभ योग होने से सूर्य(राजा)+बुध(युवराज) की युति से बनने के कारण लम्बे समय तक शुभ फल देने वाला योग है क्योंकि राजा के बाद राज्य का उत्तराधिकारी युवराज ही होता है...
बुधादित्य योग एक शुभ योग होने से सूर्य(राजा)+बुध(युवराज) की युति से बनने के कारण लम्बे समय तक शुभ फल देने वाला योग है क्योंकि राजा के बाद राज्य का उत्तराधिकारी युवराज ही होता है...
जन्म कुंडली के बारह भावों मे जन्म के समय शनि अपनी गति जन्म कुंडली के बारह भावों मे जन्म के समय शनि अपनी गति और जातक को दिये जाने वाले फ़लों के प्रति भावानुसार...
क्या होता है जब सपने आते हैं? ज्योतिष शास्त्र में सपनों को लेकर कई मान्यताएं प्रचलित हैं। जिसके अनुसार सपने हमें भविष्य में होने वाली घटनाओं के बारे में बताते हैं।कुछ सपने शुभ फल...
सभी ग्रह जिस स्थान पर बैठे हों, उससे सातवें स्थान को देखते हैं। शनि तीसरे व दसवें, गुरु नवम व पंचम तथा मंगल चतुर्थ व अष्टम स्थान को विशेष देखते हैं। कोई भी ग्रह...
शास्त्रों में जन्मकुण्डली के बारह स्थान बताये गये हैं। एक करोड़ जप पूरा होने पर उनमें से प्रथम स्थान-तनु स्थान शुद्ध होने लगता है। रजो-तमोगुण शांत होकर रोगबीजों व जन्म-मरण के बीजों का नाश...
अगर है तो आप भी अपने घर के वास्तु दोषों को दूर कर अपने घर वातावरण मंगलमय बना सकते हैं| प्रस्तुत है कुछ प्रबल वास्तु दोष नाशक आजमाये हुए प्रयोग जिनका प्रयोग करके आप...
सोमवती अमावस्या 3 जून 2019 को, पंच महायोग में ऐसे करें पूजा तो दूर होंगे बुरे योग 3 जून को सोमवती अमावस्या मनाई जाएगी. हिंदू धर्म में सोमवती अमावस्या का दिन शुभ माना जाता...
बालारिष्ट दोष जब चंद्रमा लग्न से छठे, आठवें और बारहवें भाव मे, कमज़ोर स्थिति में और क्रुर ग्रहों के प्रभाव मे हो तो बालारिष्ट दोष होता है। चंद्रमा की ये कमज़ोर और पीडित स्थिति...
वक्री ग्रह का नाम सुनकर अक्सर लोग डर जाते हैं। ग्रहों के वक्रत्व का अर्थ वे अनिष्ट से लगाते हैं। जन्म कुंडली में यदि कोई ग्रह वक्री है तो लोग समझते हैं कि उनके...
धन जीवन की मौलिक आवश्यकता है। सुखमय, ऐश्वर्य संपन्न जीवन जीने के लिए धन अति आवश्यक है। आधुनिक भौतिकतावादी युग में धन की महत्ता इतनी अधिक बढ़ चुकी है कि धनाभाव में हम विलासितापूर्ण...
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